अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद :प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खटटर के भ्रष्टाचार मुक्त व बिचौलियों की भूमिका को खत्म करने की बात मीडिया में जोर -जोर से अक्सर करते हैं,अगर ऐसा हैं तो एक रिटायर्ड बैंककर्मी कृष्ण गोपाल अग्रवाल को अपने साथ हुए धोखे के लिए,धोखेबाजों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करवाने के लिए भाजपा के राष्टीय अध्यक्ष अमित शाह, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री मनोहर लाल खटटर,फरीदाबाद के सांसद व केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर, हरियाणा के कैबिनेट मंत्री विपुल गोयल, अनिल विज, कविता जैन, मनीष ग्रोवर, स्पीकर कृष्ण पाल गुर्जर व पुलिस महानिदेशक बी.एस.संधू तथा पुलिस कमिश्नर को पत्र क्यों लिखना पड़ा,यह तो केंद्र व प्रदेश के सरकारों के कार्य प्रणाली पर सवाल तो जरूर खड़े करते हैं।सीएम विंडो में दिए गए दरखास्त व लिखे गए पत्रों का जब असर पुलिस प्रशासन पर नहीं पड़ा तो सीएम कार्यालय, चंडीगढ़ में एक अधिकारी से मिले, उन्हें अपने साथ घटित घटनाओं से अवगत कराया,के बाद उनके दरखास्त पर एफआईआर दर्ज की गई। इसमें कई महोनें बीत गए,यहीं हैं भाजपा का भरष्टचार मुक्त प्रशासन।
कृष्ण गोपाल अग्रवाल बतातें हैं कि वह गांव दौलताबाद ,सेक्टर -16 ए ,फरीदाबाद में रहते हैं, वह 13 जुलाई 2015 में खसरा न. 17,गांव दौलताबाद, 16 ए में लाल डोरा की जमीन बता कर धोखे से हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण ( हुड्डा ) की 153 वर्ग गज जमीन की रजिस्ट्री लगा कर करीब 33 लाख रूपए में नामी ग्रामी प्रॉपर्टी डीलर प्रमोद गुप्ता निवासी मकान न. 621 ,सेक्टर – 21 सी, प्रवीण गुप्ता निवासी मकान नंबर -210 , सेक्टर -16 ए व दीपक गोयल निवासी मकान नंबर -1780, सेक्टर – 9 ने बेच दिया। उनका कहना हैं कि इस बात का पता उन्हें उस वक़्त चला जब वह खरीदी गई जमीनों पर अपना निर्माण कर रहे थे, उस वक़्त हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (हुड्डा ) ने उनके निर्माणों को यह कह कर रोक दिया था कि यह जमीन तो हुड्डा की हैं ना की लाल डोरे की हैं। इसके बाद उनके निर्माण को हुड्डा ने तोड़ दिया।
इसके बाद उपरोक्त प्रॉपर्टी डीलरों को बातचीत की तो उन्होनें कहा कि हुड्डा से वह लोग इस संबंध में बात कर रहे हैं। इस तरीके से उन लोगों ने अच्छा ख़ासा वक़्त निकाल दिया पर उन्होनें ने उनके समस्या का समाधान बिल्कुल नहीं किया। उनका कहना हैं कि इसके बाद उन्होनें एक आरटीआई हुड्डा में इस संबंध में लगाईं जिसके जवाव में हुड्डा ने कहा कि यह जमीन हुड्डा का हैं,लाल डोरे की जमीन नहीं हैं, उसके बाद उन्होनें एक दरखास्त प्रॉपर्टी डीलर प्रमोद गुप्ता , प्रवीण गुप्ता व दीपक गोयल के खिलाफ जनवरी -2018 में सीएम विंडो में लगाई, उस पर जो जांच की गई पर आरोपियों के खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई बल्कि उल्टा उनके दरखास्त को बंद कर दिया गया। उनका कहना हैं कि आरटीआई में हुड्डा कह रहीं हैं कि यह जमीन उनकी हैं, उसी जमीन की रजिस्ट्री लाल डोरे की जमीन बता कर उन लोगों ने की है उनके साथ धोखा हुआ हैं यह सब जानते हुए किसी भी पुलिस अधिकारियों ने तीनों प्रॉपर्टी डीलरों के खिलाफ एफआईआर दर्ज नहीं की।
इस दौरान उन्हें मालूम हुआ की हरियाणा के एक मंत्री के संरक्षण उसे प्राप्त हैं। इस कारण से उनके दरखास्त पर कोई कार्रवाई नहीं किया जा रहा हैं। इसके बाद उन्होनें जुलाई महीने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष अमित शाह, मुख्यमंत्री मनोहर लाल खटटर , फरीदाबाद सांसद व केंद्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर, हरियाणा के कैबिनेट मंत्री विपुल गोयल, विधानसभा अध्यक्ष कृष्णपाल गुर्जर, अनिल विज,श्रीमती कविता जैन,मनीष ग्रोवर,पुलिस महानिदेशक बी. एस. संधू व पुलिस कमिश्नर को एक -एक पत्रों को लिख कर स्पीड पोस्ट कर दिया। इसके वावजूद उपरोक्त प्रॉपर्टी डीलरों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। वह भी निराश नहीं हुए,तनाव पूर्ण माहौल में उन्होनें काफी भाग दौड़ की, फिर एक अधिकारी से जाकर मिले,अपनी दास्ता उन्हें सुनाए ,के बाद वह फरीदाबाद पुलिस कमिश्नर अभिताभ सिंह ढिल्लों को फोन पर तीनों आरोपी प्रॉपर्टी डीलरों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए कहा,फिर जाकर 10 सितंबर -2018 को वह पुलिस कमिश्नर अभिताभ सिंह ढिल्लों से मिले,
के बाद उन्होनें सेंट्रल थाने में तीनों प्रॉपर्टी डीलर प्रमोद गुप्ता, प्रवीण गुप्ता व दीपक गोयल के खिलाफ भारतीय दंड सहिंता की धारा 120 बी, 406 , 420 ,467 , 468 व 471 के तहत मुकदमा दर्ज करवा दिया हैं। उनका कहना हैं कि एक हफ्ते बीत चुके हैं वावजूद इसके दर्ज की गई एफआईआर पर पुलिस ने अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है। इस मामले में सेंट्रल थाने के एसएचओ राजदीप सिंह मोर का कहना हैं कि इस केस की जांच जिम्मेदारी उप – निरीक्षक बिजेंद्र सिंह के पास हैं, उन्होनें कहा कि इसमें जो भी डोक्युमेंट दी गई हैं,उसको तहसील से पहले तो वेरिफाई करेंगें, इसमें थोड़ा वक़्त लगता हैं, इस के जांच में जो लोग दोषी होंगें, उन्हें सलाखों के पीछे धकेला जाएगा। उधर, आरोपी प्रॉपटी डीलर प्रमोद गुप्ता का कहना हैं कि इस केस से उनका कोई लेना नहीं हैं, उन्हें तो बिना वजह घसीटा गया हैं, इसके केस से उसके भाई प्रवीण गुप्ता का तो लेना देना हैं पर वह भी क्या करे,उसकी भी कोई गलती नहीं हैं।
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