विनय सिंह, नई दिल्ली : वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) को जुलाई से लागू करने को लेकर गंभीर सरकार की इससे जुड़े विधेयकों को संसद के चालू बजट सत्र में ही पेश करने की योजना है। इन विधेयकों को बजट सत्र के दूसरे चरण में पेश किए जाने की संभावना है। वित्त मंत्री अरूण जेतली ने बजट के बाद उद्योग मंडलों के साथ अपनी बैठक में यह जानकारी दी। मंत्री ने उम्मीद जताई कि जीएसटी परिषद की 18 फरवरी को होने वाली बैठक में केंद्रीय जीएसटी (सीजीएसटी) व एकीकृत जीएसटी (आईजीएसटी) मसौदा विधेयकों को मंजूरी दे दी जाएगी। इसके बाद इन विधेयकों को बजट सत्र के दूसरे चरण में पेश किया जाएगा।
बजट सत्र का दूसरा चरण एक माह के अवकाश के बाद 9 मार्च से शुरू होकर 12 अप्रैल तक चलेगा। उल्लेखनीय है कि जीएसटी परिषद ने प्रस्तावित अप्रत्यक्ष कर प्रणाली के लिए 5, 12, 18 और 28 प्रतिशत के चार स्लैब के कर ढांचे को पहले ही मंजूरी दे दी है। विभिन्न वस्तुआें व सेवाआें पर लगने वाले शुल्क का फैसला मई या जून में किया जाएगा।
जेतली ने कहा कि सीजीएसटी व आईजीएसटी के मुख्य नीतिगत मुद्दों को निपटा लिया गया है। अंतिम मसौदा तैयार किया जा रहा है और जब इसे विधिसम्मत भाषा में वितरित कर दिया जाएगा तो तब इसे मंजूरी के लिए संसद व राज्य विधानसभाआें (एसजीएसटी) में पेश किया जाएगा। वित्त मंत्री ने कहा, ‘हम इस महीने की 18 तारीख को मिल रहे हैं। इस समय मेरा लक्ष्य इन मसौदों को अंतिम रूप देना और बजट सत्र के दूसरे भाग में उन्हें संसद में पेश करना है।