अरविन्द उत्तम की रिपोर्ट
नोएडा : साइबर क्राइम थाना पुलिस ने करेंसी में ट्रेडिंग करने के डीमैट खाता खुलवा कर ठगी करने वाले गैंग का पर्दाफाश कर एक साइबर ठग को गिरफ्तार किया है.ये गैंग 500 डीमैट खाते खुलवा कर करीब 15 करोड़ की ठगी को अंजाम दे चुका है। इस गिरोह ने गाजियाबाद निवासी अशोक मिश्रा से 15 लाख की ठगी की थी। जिनकी शिकायत जांच कर रही नोएडा साइबर क्राइम थाना पुलिस ने एक आरोपी को मध्यप्रदेश के देवास से गिरफ्तार किया है।
इसके अन्य साथियों की तलाश की जा रही है. साइबर क्राइम थाना सेक्टर- 36 में पुलिस की गिरफ्त खड़ा शोएब ने अमदानी सॉल्यूशन नाम से ऑफिस खोलकर अपने साथियों के साथ लोगों को फोन कर करेंसी में ट्रेडिंग करने के डीमैट खाता खुलवा कर 500 से ज्यादा लोगों से 15 करोड़ की ठगी से ज्यादा कर चुका है साइबर सेल प्रभारी रीता यादव ने बताया कि गाजियाबाद निवासी अशोक मिश्रा से 15 लाख की ठगी की थी जिनकी शिकायत पर जांच के दौरान शोएब को मध्यप्रदेश के देवास से गिरफ्तार किया है.
साइबर सेल प्रभारी रीता यादव ने बताया कि शोएब ने अमदानी सॉल्यूशन के नाम से स्कीम नंबर- 94 रिंग रोड इंदौर में ऑफिस खोला था। अपने साथियों के साथ लोगों को फोन कर करेंसी में ट्रेडिंग करने के डीमैट खाता खुलवाते थे। ये लोग अलग-अलग कस्टमर से डीमैट खातों में पैसा मांगता था। डीमैट खातों का एडिमन एक्सिस करने के लिए यूजर आईडी व पासवर्ड अपने पास ही रखते थे। डिमैट खातों में दिखाई देने वाली धनराशि केवल डिजिट के रुप में कस्टमर को बढ़ती हुई दिखाई देती थी। जबकि असल में वह धनराशि बढ़ती नहीं थी। जिससे कस्टमर धनराशि बढ़ता देख इंवेस्ट करता रहता था। इसके बाद जब कस्टमर खातों में दिख रही धनराशि का प्रॉफिट लेना चाहता था तो जीएसटी , कन्वर्जन चार्ज और सेटलमेंट चार्ज के नाम पर विभिन्न बैंकों खातों में और पैसे ट्रांसफर करवा लिए जाते थे
इन लोगों ने ट्रेडिंग की फर्जी एंड्राइड एप्लीकेशन मेटा ट्रेडर्स-05 नाम से बनाकर प्ले स्टोर पर अपलोड कर रखी थी। ऑफिस में कुछ लड़को और लड़कियों को जॉब पर रखा था। ये लोगों को फोन करके स्कीम और डिमैट खातों में पैसा ट्रांसफर करने को कहते थे। इनको बतौर सैलरी दी जाती थी। बताया गया कि इन लोगों ने सिर्फ यूपी नहीं बल्कि अन्य राज्यों के लोगों को भी ठगी का शिकार बनाया है। पुलिस को फरार इनके दो और साथियों की तलाश कर रही है.
Related posts
0
0
votes
Article Rating
Subscribe
Login
0 Comments
Oldest
Newest
Most Voted
Inline Feedbacks
View all comments