अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद: कार्यस्थल पर महिलाओं की सुरक्षा के मद्देनजर पोश एक्ट 2013 के सम्बन्ध में आज लघु सचिवालय के बैठक कक्ष में औद्योगिक इकाइयों और निजी अस्पतालों के आंतरिक शिकायत समिति के सदस्यों के साथ बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में हरियाणा राज्य विधि आयोग की सदस्य संगीता वर्धन ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। हरियाणा राज्य विधि आयोग की सदस्य संगीता वर्धन संगीता वर्धन ने बताया कि पोश एक्ट के तहत देश में हर संस्था या कंपनी को 10 सदस्यों की एक कमेटी बनाने की बाध्यता है। यह कमेटी उस जगह या कंपनी में काम कर रहीं महिलाओं की शारीरिक और लैंगिक उत्पीड़न जैसी समस्याओं को सुनेगी। कानून के मुताबिक कमेटी की हेड महिला ही होनी चाहिए। कमेटी के पास उतनी पावर होगी, जितनी सिविल कोर्ट के पास होती है। ये कमेटी विक्टिम का बयान ले सकती है, मामले से जुड़े सबूतों और गवाहों की जांच भी कर सकती है। यदि कमेटी किसी को दोषी पाती है तो वह उचित कार्रवाई के लिए अदालत और पुलिस को सूचित कर सकती है। प्रशासन का उद्देश्य है कि वह गरीब, अशिक्षित और पिछड़े तबके की महिलाओं को इस कानून और उससे जुड़े नियमों के बारे में बताकर उन्हें जागरूक करें। अगर कोई संगठन इस कानून का पालन नहीं करता, तो उस पर जुर्माना लगाया जा सकता है। सभी कंपनियों में नियमित रूप से POSH ट्रेनिंग सेशन और वर्कशॉप्स का आयोजन प्रशासन द्वारा किया जाएगा ताकि महिला कर्मचारियों को इस विषय में संवेदनशील व जागरूक बनाया जा सके।बैठक को संबोधित करते हुए एसडीएम फरीदाबाद शिखा अंतिल ने कहा कि कार्यस्थल पर महिलाओं को सुरक्षित रखने के लिए POSH एक्ट (Prevention of Sexual Harassment Act) के तहत जागरूकता और सख्त नियमों का पालन अत्यंत आवश्यक है। सभी सरकारी और गैर सरकारी औद्योगिक संस्थान कार्यस्थलों पर लैंगिक उत्पीड़न के विरुद्ध स्पष्ट नीतियां होनी चाहिए और महिला कर्मचारियों को इसके बारे में जागरूक भी किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकारी और गैर सरकारी औद्योगिक संस्थानों में महिलाओं की शिकायत के लिए आईसीसी कमेटी का गठन करें और चयनित सदस्यों को पोश प्रशिक्षण दिलवाएं। सरकारी और गैर सरकारी औद्योगिक संस्थानों में महिलाओं के सामने आने वाली परेशानी की शिकायत आईसीसी कमेटी में दर्ज की जाए। आईसीसी कमेटी में आने वाली शिकायतों पर तुरंत प्रभाव से संज्ञान ले। अगर किसी महिला का किसी भी प्रकार से शोषण या उत्पीड़न किया जाता है तो पीड़ित महिला अपनी शिकायत महिला थाना में भी दर्ज करवा सकती है। बैठक में विभिन्न औद्योगिक संस्थानों के प्रतिनिधिगण मौजूद थे।
Related posts
0
0
votes
Article Rating
Subscribe
Login
0 Comments
Oldest
Newest
Most Voted
Inline Feedbacks
View all comments