अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद: मकान के नक्शा बनाने और उसे पास कराने के नाम पर रिश्वत मांग बारे, हाई कोर्ट के माध्यम से एक शिकायत एसीपी एनआईटी विष्णु प्रसाद के पास प्राप्त हुई जिसकी जांच कर एसीपी ने रिपोर्ट को डीसीपी एनआईटी नितीश अग्रवाल के पास भेजा। डीसीपी एनआईटी ने रिपोर्ट पर करप्शन की धाराओं में मुकदमा दर्ज करने के आदेश दिए थे।शिकायतकर्ता नवनीत सेठी जोकि फरीदाबाद के सेक्टर- 21 डी के इंदिरा एंक्लेव में रहते हैं। जो बिल्डर का काम करता है।
नवनीत अपने पार्टनर विष्णु प्रसाद जोशी के साथ मिलकर फ्लैट बनाने का काम करता है। जिसने फरीदाबाद के सेक्टर- 21 डी में दो फ्लैट बनाने का काम किया था। जिसके दौरान एमसीएफ में तैनात जेई सुमेर सिंह, बेलदार अमरपाल से वर्ष- 2019 में मुलाकात हुई। शिकायतकर्ता ने सुमेर सिंह से बिल्डिंग के नक्शा पास कराने का प्रोसीजर पूछा तो सुमेर सिंह ने उससे कहा कि उसके अंकल जी एमसीएफ में जेई हैं उनसे वह नक्शा पास करा देगा, बिल्डिंग में किसी अधिकारी को जाने नहीं देगा और पानी,सीवर के कनेक्शन भी कटने नहीं देगा। उसने मुझसे ₹200000 लिए जिसमें सरकारी फीस भी शामिल है। ₹200000 शिकायतकर्ता ने टुकड़ों में दिए थे। जेई सुमेर सिंह के साथ अमरपाल ने आश्वासन दिया कि वह उसको नक्शा बनवाकर पास करा देगा।
नक्शा पास नहीं होने पर नवनीत सेठी ने शिकायत सिविल कोर्ट में डाली थी जिसकी जांच के आदेश पारित किए गए। शिकायत कर्ता से आरोपियों ने 2021 के मध्य में ₹50000 फाइल का स्टेटस जाने के लिए अमरपाल ने लिए और उसमें से कुछ पैसे मेरे सामने ज्वाइंट कमिश्नर के महिला पीए प्रवीण कालरा को दिए। इसके साथ सुमेर सिंह एसडीओ बने और उनकी बदली इंफोर्समेंट डिपार्टमेंट में हो गई। इसके साथ और अन्य लोग भी शामिल है जिसमें अमित कौशल, पद्म भूषण, बीके कर्दम, धर्मवीर और अंशु भी शामिल हैं। शिकायत 16 मार्च को प्राप्त हुई जिस पर थाना एनआईटी में मुकदमा दर्ज कर मुकदमे की तफ्तीश पुलिस चौकी सेक्टर- 21 प्रभारी सब इंस्पेक्टर ओम प्रकाश को दी गई है। जिसकी तफ्तीश जारी है।
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