अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद: लगभग 203 करोड़ रूपए की लागत से बन रही मंझावली पुल अब तक पूरी नहीं हो पाई है, और आने वाले लगभग दो-ढाई महीने तक पूरी होने की कोई उम्मीद भी नहीं हैं। अगले दो-ढाई के बाद यदि पूरी हो भी जाती है तो इसके बाद भी फरीदाबाद की जनता को इस मंझावली पुल से गुजर ने में बहुत ही मुश्किल होगा,क्यूंकि नॉएडा क्षेत्र के आने वाले हिस्सों में सड़कों का निर्माणकार्य अभी तक शुरू नहीं हुई। ये भी पता नहीं है,फरीदाबाद के सम्बंधित अधिकारी को,की बनेगी भी या नहीं बनेगी,और बनेगी तो कब तक बनेगी। इस बारे में उन्हें कुछ भी नहीं पता। इस हिसाब से देखें तो सुर्ख़ियों रहने वाली ये निर्माणधीन मंझावली पुल के निर्माण कार्य पूर्ण होने में काफी लंबा समय लग सकता हैं। ऐसे में तिगांव क्षेत्र के विधायक राजेश नागर और फरीदाबाद के सांसद व केंद्रीय सहकारिता राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर को महत्वपूर्ण भूमिका निभाने की जरूरत है। क्योंकि ये महत्वपूर्ण कार्य उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के स्तर पर ही संभव हैं। इस मामले में क्षेत्र के विधायक राजेश नागर से फोन पर संपर्क किया गया पर उन्होंने अपना फोन नहीं उठाया, अगर उनका कॉल वापस आता है तो उनका पक्ष इस खबर में जोड़ दिया जाएगा। इसी तरह से फरीदाबाद के सांसद व केंद्रीय सहकारिता राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर से फोन पर संपर्क किया गया पर वह लोकसभा में चल रही सत्र में व्यस्त होंगें,शायद इस लिए उन्होनें अपना फोन नहीं उठाया, यदि उनका कॉल वापस आता हैं तो उनका पक्ष इस खबर में अवश्य जोड़ दिया जाएगा। इस मंझावली पुल का शिलान्यास प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार-1 में , वर्ष -2014 के अक्टूबर महीने में केंद्रीय परिवहन एंव सड़क एंव जहाज मंत्री नितिन गडकड़ी व इनके साथ उस समय राज्य मंत्री रहे कृष्ण पाल गुर्जर ने की थी। इस मंझावली पुल को बनाने के लिए लगभग 203 करोड़ रूपए की लागत आ रही है। यमुना नदी के ऊपर पुल बनाने में लगभग 106 करोड़ रूपए और अप्रोच के साथ सड़कें बनाने में लगभग 97 करोड़ रूपए की लागत आ रही है। शिलान्यास हुए लगभग पुरे 10 साल बीत चुके है। अब तक ये मंझावली पुल पूरी तरह से बन नहीं पाई है। इसकी शिलान्यास होने के बाद दो बार लोकसभा और दो बार विधानसभा चुनाव हो चुके है। दोनों बार ही केंद्र और प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की सरकार रही है। बावजूद इसके ये मंझावली पुल अब तक पूर्ण रूप से बन कर तैयार नहीं हो पाई है। खबर के मुताबिक इस निर्माणाधीन मंझावली पुल की लंबाई-19.2 किलोमीटर से अधिक है, और सड़क और पुल की कूल चौड़ाई लगभग 10 मीटर है। इनमें 5 मीटर जाने और 5 मीटर आने वाली सड़कें है। हालांकि यमुना नदी पर वर्ष 2020 में पुल बन गई थी। अभी वर्तमान स्थिति में देखा गया है कि फरीदाबाद की ओर से बने यमुना नदी के पुल तक जाने के लिए अभी सिर्फ अप्रोच बने है, यानी की सड़कें पूर्ण रूप से नहीं बनी है, इसके आगे दूसरी साइड में पुल से नोएडा के लिए चलेंगें, तो वहां पर अभी तो मिट्टी की खुदाई तेजी से चल रही हैं, यदि फरीदाबाद में मूसलाधार बारिश हुई तो खुदाई का काम बंद भी हो सकती है,और लंबा वक़्त लग सकता है। बातचीत के दौरान एक अधिकारी ने बताया कि फरीदाबाद तक का पूरा का पूरा पुल अगले दो-ढाई महीने में पूरा कर लेंगें। उनकी कोशिश है कि आदर्श आचार संहिता लगने से पहले पूरा कर लें। यह तभी तक संभव जब मौषम उनका साथ देगा। यदि मूसलाधार बारिश हुई तो, और ज्यादा समय लग सकता है। सवाल के जवाब में उनका कहना है कि वह तो अपना काम दो- ढाई महीने में कर लेंगे, पर इसके आगे की सड़कें जो नोएडा के केजीपी और दिल्ली -आगरा हाइवे से जुड़ेगी। इस दिशा में नोएडा की तरफ से किसी प्रकार का कोई कार्य नहीं किया जा रहा है, अभी तक तो उनकी तरफ से कोई निर्माण कार्य शुरू नहीं किया गया है। ऐसे में फरीदाबाद की जनता को फरीदाबाद से नोएडा जाने वाली इस पुल का पूरा रास्ता साफ़ नहीं है। इन हालतों में फरीदाबाद के एरिया तक की पुल बन भी जाएगी तो फरीदाबाद की जनता को और ज्यादा इंतजार करना पड़ सकता है। नोएडा की तरफ से लगभग 42 मीटर सड़कें बननी है, जिसमें लोग अभी खेती बाड़ी कर रहे है। ऐसे में क्षेत्र के विधायक राजेश नागर व फरीदाबाद के सांसद एंव केंद्रीय सहकारिता राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर की इस मामले में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने की जरूरत है, उनकी भूमिका यह है कि सीएम योगी आदित्यनाथ से मुलाकात करके नोएडा के हिस्से की जो 42 मीटर सड़कें है , को जल्दी से जल्दी बनवा लें, ताकि इस मंझावली पुल को फरीदाबाद की जनता को जल्द ही समर्पित किया जा सकें।
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