अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद: भाजपा शासन में कानून व्यवस्था की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। निर्दोष लोगों पर झूठे मुकदमें दर्ज किए जा रहे हैं। सुशांत केस में न्याय मांगने वाले उनके जीजा फरीदाबाद के पुलिस कमिश्नर के नेतृत्व में खुद फरीदाबाद पुलिस के भ्रष्ट अधिकारी अन्याय करने में बुजुर्गों को भी नहीं बख्श रहे। इतना ही नहीं बुजुर्गों की मदद करने के कारण कांग्रेस नेता के खिलाफ ही झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया गया। इस संदर्भ में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विजय कौशिक ने कहा कि ओल्ड फरीदाबाद निवासी सीनियर सिटीजन चंद्रभान बजाज ने पुलिस इंस्पेक्टर सतबीर से 2 प्रतिशत ब्याज पर तीन लाख रुपए लिए थे जो कि ब्याज सहित साढ़े 3 लाख रुपए लौटा दिए। कोरोना काल व आर्थिक रूप से हालात खराब होने के कारण बजाज परिवार पूरी तरह टूट गया। जो कि आज बुजुर्ग दम्पति किराये के मकान में रहकर किसी तरह अपनी गुजर-बसर कर रहे हैं। उन्होंने पुलिस इंस्पेक्टर से कहा कि वह अब और रुपया देने की स्थिति में नहीं है तो पुलिस इंस्पेक्टर ने उनके बेटे को फोन करके धमकी दी कि वह अपना रुपया किसी भी हालत में नहीं छोड़ेगा, चाहे इसके लिए कुछ भी हथकंडे क्यों न अपनाने पड़ें।
इस मामले में एक पंचायत कौशिक के कार्यालय में हुई जहां पर इंस्पेक्टर सतबीर और उनके बेटे जयप्रकाश ने माना की उनके पास ब्याज के रूप में साढ़े 3 लाख रुपए आ चुके हैं लेकिन वे अपना मूलधन वापस लेकर ही रहेंगे। वे अपना एक रुपया भी नहीं छोड़ेंगे। इस पर पीडि़त पक्ष ने उनसे कहा कि उनके हालात खराब हैं और अब उनके पास इंस्पेक्टर की गुंडागर्दी के चलते मरने के अलावा कोई रास्ता नहीं बचा है। इस पर भी इंस्पेक्टर का दिल नहीं पसीजा और उसने कहा कि वह बजाज के खिलाफ कई झूठे मुकदमें दर्ज करवा देगा। कौशिक ने इंस्पेक्टर सतबीर और उसके बेटे को बहुत समझाया और बजाज दम्पति के ऊपर दया करने को कहा। लेकिन वर्दी के अहंकार में उसने एक नहीं सुनी। लिहाजा बजाज दम्पति ने फरीदाबाद के पुलिस कमिश्नर से मिलकर उन्हें सारे मामले की जानकारी देते हुए कहा कि वे इंस्पेक्टर सतबीर का रुपया देना चाहते हैं लेकिन उनके पास रुपया है नहीं। अगर उनके अंग बेचकर इंस्पेक्टर का पैसा दिया जा सकता है तो वह देने के लिए तैयार हैं। इंस्पेक्टर सतबीर के झूठे मुकदमों की धमकियों व प्रताडऩा के बारे में बजाज दम्पति ने कई शिकायतें दी। वहीं दूसरी तरफ इंस्पेक्टर सतबीर ने अपने बेटे जयप्रकाश की तरफ से बजाज दम्पति के खिलाफ सीएम विंडो पर भी शिकायत करवाई। आरटीआई से मिली जानकारी के मुताबिक पुलिस ने प्रत्येक शिकायत के संदर्भ में यही जवाब दिया कि दोनों ही पक्ष एक-दूसरे के खिलाफ शिकायत देते रहते हैं लेकिन यह मामला रुपयों के लेन-देन का है और सिविल का है इसलिए इसमें पुलिस कार्यवाही नहीं हो सकती।
कांग्रेस नेता विजय कौशिक ने कहा कि पुलिस ने सीनियर सिटीजन बजाज दम्पति को न्याय न देकर अब एकाएक थाना ओल्ड फरीदाबाद में मुकदमा नं. 302, दिनांक 26 नवम्बर 2020 को उन्हीं के खिलाफ एक झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया। जिसमें साजिश के तहत उनका नाम भी शामिल कर दिया गया। इस एफआईआर को पढक़र अंदाजा लगाया जा सकता है कि यह एक झूठी एफआईआर है। इसमें इंस्पेक्टर पुत्र जयप्रकाश ने लिखा है कि उसने 2 लाख 93 हजार रुपए चेक से व 7 हजार रुपए कैश दिए थे। बदले में दो प्रतिशत का ब्याज वसूलता रहा, जोकि अब बजाज दम्पति रुपया मांगने पर आत्महत्या की धमकी दे रहे हैं। कौशिक ने कहा कि यह पुलिस द्वारा साजिश के तहत दर्ज किया गया मुकदमा है जिसमें उनके नाम पर यह झूठी एफआईआर दर्ज की गई है। पुलिस अब झूठी एफआईआर करके बुजुर्ग दम्पति से रुपया वसूली का खेल खेलना चाहती है। कौशिक ने कहा कि जब से यह भ्रष्ट भाजपा सरकार सत्ता में आई है कांग्रेस के नेताओं पर झूठे मुकदमें दर्ज किए जा रहे हैं,लेकिन हम इन झूठे मुकदमों से डर कर गरीबों एवं जरूरत मंदों की मदद बंद नहीं कर सकते। उन्होंने पुलिस प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर इस झूठे मुकदमें को खारिज नहीं किया गया तो वह इसके खिलाफ अपने संघर्ष को जारी रखेंगे।