अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
फरीदाबाद :क्राइम ब्रांच बॉर्डर के इंचार्ज रहे संदीप चहल का कहना हैं कि चीनी ब्यापारी को कोई थर्ड डिग्री नहीं दी गई हैं, उन्हें क्राइम ब्रांच बॉर्डर की जिम्मेदारी हैं, इस लिए ब्यापारी व विधायक मूल चंद शर्मा बिना वजह उनके पीछे पड़े हैं,वह तो सरकार व अपने बड़े अधिकारी के नौकर हैं,वह जहां चाहे वहां उनसे काम ले सकती हैं। इस प्रकरण में डीसीपी क्राइम लोकेंद्र सिंह का कहना हैं कि इस केस में जल्द ही एसआईटी गठित कर दी गई हैं। इस केस की सच्चाई से एसआईटी पर्दा उठाएगी। अभी तक के जांच में ऐसी कोई बात उनके सामने नहीं आई हैं जिसमें चीनी ब्यापारी को थर्ड डिग्री दी गई हो।
संदीप चहल ने बातचीत के दौरान बताया कि 27 सितंबर को दोपहर के तक़रीबन तीन बजे चीनी ब्यापारी मोहित गोयल को वह अपने सहयोगियों के साथ पुलिस की गाडी में जरूर लेकर आए थे और वह क्राइम ब्रांच बॉर्डर के बाहर सड़क पर उत्तर कर उसके अंदर चले गए, इसके बाद बाकि के स्टाफ के लोग उसे लेकर रोहिणी, दिल्ली में उसके बुआ के घर उसकी मम्मी मिथलेश -पापा राम गोपाल की तलाश में चले गए। क्यूंकि मोबाइल फोन पर उनका वहीँ का लोकेशन था और बदले हुए मोबाइल फोन का नंबर मोहित गोयल ने ही उन्हें दिया था पर वहां पर उसके पिता राम गोपाल, मां श्रीमती मिथलेश नहीं मिले, फिर वह लोग तक़रीबन 8 बजे वापिस क्राइम ब्रांच बॉर्डर,फरीदाबाद आ गए। इस दौरान मोहित गोयल का दोस्त दिनेश अग्रवाल को बुला कर उसको सौप दिया। इसके दौरान वह लोग बाकायदा लिख कर पुलिस को दे गए की, मोहित गोयल बिल्कुल ठीक हैं।
उसे वह लोग अपने साथ गाडी में लेकर घर ले जा रहे हैं। उधर,मोहित गोयल के दोस्त दिनेश अग्रवाल का कहना हैं कि वह मोहित गोयल को तक़रीबन 8 बजे अपने साथ क्राइम ब्रांच बॉर्डर से लेकर ठीकठाक हालत में लेकर आए थे,वहां पर मोहित गोयल काफी ठाक हालत में था और खुद चल कर मेरे गाडी में बैठा था। उनका कहना हैं कि वहां ऐसा कुछ नहीं लग रहा था कि पुलिस ने उसके ऊपर कोई रोलर फेरा हो। गाडी में भी बहुत अच्छी तरह से बातचीत कर रहा था। उसमें इतना जरूर दहशत या घबराहट तो था कि क्राइम ब्रांच बॉर्डर उसे उठा कर ले गई हैं पर ऐसा कुछ भी उसमें नहीं दिखा की पुलिस ने उस पर रोलर फेरा हो। क्यूंकि जिस शख्स पर रोलर फेरा हो,वह भी ताजा हालत में कैसे सही तरीके से चल सकता हैं। उनके हिसाब से यह लोग इस तरह के ड्रामा रच कर अपने केस को खत्म करवाना चाहते हैं और दर्ज मुकदमे से बचना चाहते हैं।