अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
गुरुग्राम :डीएलएफ सेक्टर -29 थाना पुलिस ने बैंक की फर्जी एनओसी व ट्रांसपर लेटर के जरिए 10 प्राइम मूवर (घोडा) बेच कर कंपनी को 70 लाख रूपए का चुना लगाने वाले एक धोखेबाज के खिलाफ भारतीय दंड सहिंता की धारा 406 , 420 ,467 , 468 ,471 के तहत केस दर्ज कर, इसके की जांच शुरू कर दी हैं।
रोहित सिंह तोमर ,निदेशक,आर साईं लॉजिस्टिक इंडिया प्राइवेट प्राइवेट लिमिटेड,विपुल ट्रेडर सेंटर ,सोहना रोड का कहना हैं कि वर्ष -2015 में कमल किशोर गोयल निवासी ए -10 / 510 ,सहारा ग्रेस एमजी रोड गुरुग्राम से 7 लाख रूपए के हिसाब से 10 प्राइम मूवर (घोडा) को ख़रीदा था। वह भी इस शर्त पर की बैंक से एनओसी व ट्रांसपर करवा देगा। इन शर्तों पर कमल किशोर को 60 लाख रूपए दिए गए थे और उसके 10 लाख रूपए इस लिए रोक लिए थे कि वह जब बैंक से एनओसी व ट्रांसपर करवा कर देगा,ठीक उसी वक़्त उसे बाकी के 10 लाख रुपए भी दे दिया जाएगा। उनका कहना हैं कि एनओसी के लिए वह 3 -4 महीनों तक लटकाने के बाद,वह दिसंबर माह में उनसे अपना बकाया राशि 10 लाख रूपए ले लिया। इसके बाद वह उनसे साइन किया हुआ फर्म 28 -29 को वापिस ले गया,यह कह कर की, उसे बैंक से एनओसी व ट्रांसपर कराने में जरुरत पड़ सकती हैं।
इसके बाद उसने फ़रवरी 2016 में उन्हें एनओसी व ट्रांसपर लेटर दे गया। उसके बाद वह इस प्रकरण को लेकर शांत हो गए। उनका कहना हैं कि उनके साथ हुए धोखे का पता जुलाई 2018 में चला,जब बैंक के द्वारा आरोपी कमल किशोर गोयल के खिलाफ दर्ज कराए गए मुकदमे की जांच करते हुए ईओडब्लू उनके पास पहुंची,फिर उनके साथ हुए जालसाजी व धोखधड़ी का पता चला। इसके उन्होनें धोखेबाज कमल किशोर गोयल के खिलाफ डीएलएफ सेक्टर -29 थाने मुकदमा दर्ज करा दिया हैं। इससे पहले उन्होंने उसके मोबाइल फोन पर कई बार फोन किया गया पर हर बार उसका मोबाइल बंद बता रहा हैं। उनका कहना हैं कि फर्जी एनओसी व ट्रांसपर लेटर की वजह बैंक उनसे लिए 10 प्राइम मूवर (घोडा) ले जाएगी । इससे उनकी कंपनी को 70 लाख रूपए का नुकसान हुआ हैं।
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