अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
गुरुग्राम :असली का इंजीनियर,नकली जज बन कर दिल्ली व गुरुग्राम में कई लोगों को एम्स अस्पताल में नौकरी दिलाने,सस्ती दरों में फ्लैट दिलाने, केंद्रीय विद्यालय में बच्चों के दाखिले दिलाने के नाम दो दर्जनों से अधिक लोगों के साथ ठगी करने के आरोप में एक शख्स को गुरुग्राम के सेक्टर -14 थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया हैं। पुलिस की माने तो आज आरोपी शख्स को अदालत में पेश कर,पुलिस रिमांड पर लिया गया हैं। यह खुलासा एसीपी क्राइम शमशेर सिंह ने सीपी ऑफिस के कांफ्रेंस हॉल में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में किया। पुलिस की माने तो एम्स में अपने आप आईएएस अधिकारी बताकर, ऊंचे पद पर आसीन हैं,बता कर लोगों से ठगी की हैं,उसके पास से कई प्रकार के फर्जी मोहर, विजिटिंग कार्ड के साथ आदि सामानों को बरामद किए हैं
एसीपी क्राइम शमशेर सिंह ने प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा गगन बत्रा निवासी मकान नंबर -जे -91 गे-फील्ड, गार्डन ,सेक्टर -51 ,गुरुग्राम ने सेक्टर -14 थाना पुलिस को सूचना दी कि एक शख्स पिछले कई महीनों से उसके पास आता हैं और अपने आप को सिविल जज बताता हैं, काफी कम वक़्त में उससे काफी घुल मिल कर रहता हैं,उसके गाडी पर सिविल जज का स्टीकर लिखा हुआ हैं। उससे उसकी अब के समय में काफी घनिष्ट संबंध हैं,उसने उसे एक सोसायटी में सस्ते दरों में एक फ्लैट दिलाने के एवज में 4 लाख रूपए लिए थे पर वह लंबे समय के बाद भी उसे न तो फ्लेट दिलवा पाया, बार बार उसे कहने पर, उसने उसे बाद में दो लाख रूपए लौटा दिया। उनका कहना हैं कि शिकायतकर्ता गगन बत्रा को उस पर किसी बात को लेकर शक हुआ की कहीं न कहीं यह जज फर्जी हैं। इसके बाद उसने सेक्टर -14 थाने की पुलिस को इस बारे में आप बीती सुनाई, उसकी बातों को सुन कर उन्हें लगा कि यह जज बाकई में फर्जी हैं,के बाद उसने पुलिस को बताया कि उस शख्स का नाम केदारनाथ सागर शर्मा हैं, वह मकान नंबर -12 , 110 /587 /50 / 5 /71 ,इंद्रा नगर कालोनी ,वाटसी गुडा, जिला सिकंदरा बाद ,हैदराबाद ,तेलंगाना का रहने वाला हैं,हाल किरायदार फ्लेट नंबर -डी -1801, हैरिटेज मेक्स ,सेक्टर -12 ,गुरुग्राम में रहता हैं।
उनका कहना हैं कि इसके बाद पुलिस ने पूरे मामले की छानबीन करने के बाद केदारनाथ सागर शर्मा (फर्जी जज) को हिरासत में ले लिया। इसके बाद उससे गहनता से पूछताछ की गई तो उसने पुलिस को बताया कि वह एमटेक किए हुए हैं और 2012 से लेकर 2016 तक अच्छे कंपनियों में उसने लगातार नौकरी की हैं। इसके बाद उसने यह कार्य शुरू किया हैं। उनका कहना हैं कि पूछताछ के दौरान पुलिस को बताया कि दिल्ली में एम्स अस्पताल में ग्रेड 4 में नौकरी दिलाने के नाम कई लोगों से लाखों रूपए ठगी की हैं,इसके बाद में उसने केंद्रीय विद्यालय में बच्चों को एडमिशन दिलाने के नाम पर दो दर्जन से अधिक लोगों से लाखों की ठगी की हैं, सवाल के जवाव में उनका कहना हैं कि प्रत्येक बच्चों से 50000 रूपए के हिसाब से रकम की ठगी हैं। इसके अलावा आरोपी केदारनाथ सागर शर्मा अपने फ्लेट में एक महिला को कभी कभी रखता था और उससे उसके भाई को नेवी में नौकरी दिलाने के नाम से लाखों रूपए की ठगी कर रखा हैं।
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