अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
चण्डीगढ: हरियाणा पुलिस अकादमी मधुबन के हर्षवर्धन सभागार में हरियाणा पुलिस में कम्प्युटरीकरण विषय पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें हरियाणा के एडीजीपी प्रशासन एवं आईटी एएस चावला ने प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे उप निरीक्षकों को जानकारी दी। इस अवसर पर अकादमी के निदेशक आईजी योगिंद्र सिंह नेहरा ने अकादमी की ओर से एडीजीपी चावला का स्वागत किया. एडीजीपी चावला ने पुलिसिंग में कम्प्युटरीकरण की दिशा में हरियाणा पुलिस की पहल और नागरिकों को ऑनलाइन दी जाने वाली सेवाओं के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि हरियाणा प्रदेश के निवासियों को चरित्र प्रमाण पत्र, पुलिस की ओर से अनापत्ति प्राप्त और अपने किरायेदार के सत्यापन के बारे में ऑनलाईन डिजीटल हस्ताक्षर के साथ रिपोर्ट घर बैठे उपलब्ध कराने का कार्य पुलिस ने 12 फरवरी 2020 से आरम्भ कर दिया है।
हरियाणा के गृहमंत्री अनिल विज द्वारा इसका शुभारम्भ पुलिस मुख्यालय से किया गया। हरियाणा पहला राज्य है जहां पुलिस की ओर से दी जाने वाली इन तीन सेवाओं को डिजीटल हस्ताक्षर युक्त बनाया गया है। उन्होंने कहा कि 33 प्रकार की सेवाओं के लिए नागरिक को पुलिस थाना या पुलिस कार्यालय में जाने की जरूरत नहीं है अब इनके लिए हरियाणा पुलिस के वैबपोर्टल हर समय या सरल केंद्र के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। दुर्गा शक्ति एप के बारे में जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि इसे 12 जुलाई 2018 को मुख्यमंत्री मनोहर लाल द्वारा आरम्भ किया गया। यह एप महिलाओं की सुरक्षा के दिशा में महत्वपूर्ण साबित हो रहा है। इसे गुगल प्ले स्टोर से या हरियाणा पुलिस में दिए गए लिंक से नि:शुल्क डाऊनलोड किया जा सकता है। आईफोन और एण्ड्रायड दोनों तरह के प्लेटर्फाम पर यह कार्य करता है। विकट परिस्थिति में महिला इस एप के जरिए अपने मोबाईल से बटन दबाती है जिसकी सूचना उसके आवाासीय महिला पुलिस थाने और साथ ही पुलिस मुख्यालय के नियंत्रण कक्ष में पहुंच जाती है। उन्होंने कहा कि पुलिस की ओर से महिला को वापिस कॉल की जाती है यदि महिला द्वारा किसी अवस्था में कॉल रिसीव नहीं की जाती तो पुलिस महिला की लोकेशन पर मदद के लिए पहुंचती है। उन्होंने बताया कि अब तक लगभग 2 लाख यूजर इस एप को डाउनलोड कर चुके हैं।
इस एप पर प्राप्त सूचना के आधार पर हजारों की संख्या में महिलाओं की सहायता की गई है। उन्होंने कहा कि हरियाणा पुलिस तेजी से कम्प्युटरीकरण की दिशा में आगे बढ़ रही है। आने वाले कुछ महीनों में यह प्रयास है कि थाना एवं जिला स्तर से अपराधिक मामलों की रिपोर्टिंग पूरी तरह से पेपर मुक्त हो और यह सभी सूचनाएं ऑनलाईन उपलब्ध हों। वर्तमान में पुलिस पोर्टल को स्वास्थ्य विभाग और जेल विभाग से जोड़ा गया है। विवेचना अधिकारी अपराधी के बारे में अपने थाना से ही उसकी स्थिति के बारे में जानकारी हासिल कर सकता है और अपने थाना से ही डाक्टरी रिपोर्ट प्राप्त कर सकता है। उन्होंने कहा कि नागरिकों को ऑनलाईन प्रथम सूचना रिपोर्ट की प्रतियां उपलब्ध कराने का कार्य गत वर्ष से जारी है। उन्होंने प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे नवनियुक्त उप निरीक्षकों का मार्गदर्शन करते हुए कहा कि जिसके पास जितनी अधिक और उपयोगी सूचना है वहीं उतना ही ताकतवर है। प्रगति के साथ प्राथमिकताएं और सूचनाओं के संग्रहण के प्रकार भी बदलते जाते हैं। उन्होंने कहा कि अपने कौशल को निरंतर बढ़ाते रहेंं ताकि हमेशा समाज और विभाग दोनों के लिए आपकी उपयोगिता बनी रहे। उन्होंने कहा कि पुलिसिंग में इंफॉर्मेशन टेक्नालॉजी की भूमिका और अधिक होने वाली है इसलिए इस क्षेत्र में अपनी जानकारी को बढ़ाने मे प्रयास करते रहें। उन्होंने विश्वास जताया कि प्रशिक्षण के बाद इस जानकारी को वे अपने उन सभी साथियों के साथ साझा करते हुए उनकी मदद करेंगे जो कम्प्युटर के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं रखते । अकादमी के पुलिस अधीक्षक कृष्ण मुरारी ने मुख्य वक्ता एडीजीपी चावला का अकादमी की ओर से आभार व्यक्त किया। अकादमी के उप पुलिस अधीक्षक राजकुमार ने कार्यक्रम संचालन किया। इस अवसर पर अकादमी के डीएसपी पवन कुमार, डीएसपी सुंदर सिंह व डीएसपी लक्ष्मी देवी सहित अकादमी का स्टाफ भी उपस्थित थे