अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
चंडीगढ़:हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने एक बार फिर सरकार पर पहला हक गरीब आदमी का है, की अपनी प्रतिबद्धता को दोहराते हुए आज बी. पी.एल. परिवारों के कोरोना मरीजों के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करने की घोषणा की है, ताकि कोई भी जरूरतमंद व गरीब व्यक्ति पैसों की कमी के कारण वैश्विक कोरोना महामारी से जान न गंवाएं। मुख्यमंत्री ने आज डिजिटल प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए घोषणा की कि हरियाणा सरकार प्रदेश के निजी अस्पतालों में ऑक्सीजन या आई.सी.यू. बेड पर उपचाराधीन बी.पी.एल. परिवारों के कोरोना मरीजों के लिए प्रतिदिन प्रति मरीज 5,000 रुपये (अधिकतम 7 दिन) यानी 35,000 रुपये की सहायता देगी।
इसके अलावा मुख्यमंत्री ने निजी अस्पतालों के लिए भी प्रतिदिन प्रति मरीज 1,000 रुपये या अधिकतम 7,000 रुपये तक की प्रोत्साहन राशि देने की घोषणा की। ताकि निजी अस्पतालों में हरियाणा के कोरोना मरीजों को दाखिला देने में प्राथमिकता मिल सके। इस प्रकार, बी.पी.एल. परिवारों के कोरोना मरीजों के लिए 42,000 रुपये की वित्तीय सहायता मिलेगी। मनोहर लाल ने कहा कि राज्य के निजी अस्पतालों में उपचार करवाने वाले कोरोना मरीजों के लिए बेड व अन्य सुविधाओं के रेट फिक्स किए गए हैं। राज्य में इस समय 42 निजी अस्पताल कोविड मरीजों का उपचार कर रहे हैं। सरकार ने एनएबीएच व जेसीआई मान्यता प्राप्त अस्पतालों में आइसोलेशन बेड का 10,000 रुपये, बिना वेंटीलेटर के आईसीयू बेड का 15,000 रुपए तथा वेंटिलेटर युक्त आईसीयू बेड का 18,000 रुपये प्रतिदिन की दर से रेट तय किए हैं। इसी प्रकार बिना एनएबीएच मान्यता प्राप्त अस्पतालों में आइसोलेशन बेड का 8,000 रुपये, बिना वेंटीलेटर के आईसीयू बेड का 13,000 रुपये तथा वेंटिलेटर युक्त आईसीयू बेड का 15,000 रुपये प्रतिदिन की दर से रेट तय किए हैं। इस मौके पर मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव और सूचना, जन संपर्क एवं भाषा विभाग के महानिदेशक डॉ. अमित अग्रवाल तथा मुख्यमंत्री के प्रिंसिपल मीडिया एडवाइजर विनोद मेहता उपस्थित थे।
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