अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
चंडीगढ़: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनेाहर लाल ने आज कहा कि सरकार ने कोरोना से संक्रमित लोगों के आइसोलेटिड वार्ड में डयूटी या कोविड टेस्टिंग लैब में तैनात और इस प्रकार के कार्य में लगे कर्मचारियों को दी जाने वाली 10 लाख रुपये की एक्स-ग्रेशिया राशि को बढ़ाने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि अब डॉक्टरों के लिए एक्स-ग्रेशिया राशि को 50 लाख रुपये, नर्सों के लिए 30 लाख रुपये व अन्य कर्मचारी, चाहे पक्के हों या अनुबंध पर, के लिए 20 लाख रुपये किया गया है।मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के किसानों को भी चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि सरकार उनके अनाज के एक-एक दाने की खरीद करेगी। उन्होंने कहा कि फसल की खरीद में कुछ देरी हो सकती है, लेकिन खरीद अवश्य की जाएगी। वर्तमान परिस्थितियों में 14 अप्रैल, 2020 तक खरीद करना संभव नहीं है, इसलिए परिस्थितियों के अनुकूल होते ही 15 अप्रैल और 20 अप्रैल से क्रमश: सरसों और गेहूं की खरीद की व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने किसानों से आग्रह किया कि जितना संभव हो अपनी फसल को घर में स्टोर करें और संभव न हो पाए तो मार्किटिंग बोर्ड की मदद ली जाएगी।
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन और खरीद में देरी के कारण किसानों को हो रहे नुकसान की भरपाई की व्यवस्था के लिए शीघ्र ही राज्य सरकार द्वारा एक योजना घोषित की जाएगी।मुख्यमंत्री ने आज चण्डीगढ़ से टेलीविजन के माध्यम से प्रदेश के लोगों को कोरोना वायरस से लडऩे के लिए सरकार द्वारा उठाए जा रहे कदमों के बारे जानकारी देते हुए कहा कि वे सोशल मीडिया व अन्य अफवाहों से भ्रमित न हों। सरकार लोगों की सुविधा के लिए हर प्रकार के प्रबंध कर रही है और सरकार ने एक वैबसाइट covidssharyana.in शुरू की है जिस पर राशन, करियाना, दूध, सब्जी व फल और दवाइयों आदि की आपूर्ति करने के इच्छुक व्यक्ति अपना पंजीकरण करवा सकते हैं। इसके अतिरिक्त, स्वैच्छिक सेवा के लिए भी इस पर पंजीकरण करवाया जा सकता है। यह वैबसाइट इसलिए शुरू की गई है ताकि लोगों को रोजमर्रा की जरूरत की चीजें समय पर मिल सकें। इस वैबसाइट पर पंजीकरण करवाने वाले लोगों को ई-पास जारी किए जाएंगे।उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 14 अप्रैल, 2020 तक घोषित किया गया सम्पूर्ण भारत लॉकडाउन कोरोना वायरस से लोगों की स्वयं की, परिवार की व समाज की सुरक्षा ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण मानवता की सुरक्षा है। पूरा विश्व इस जंग से जूझ रहा है। सभी को आपसी मतभेदों से ऊपर उठकर विश्व सुरक्षा के लिए मिलकर लडऩे का संकल्प लेना होगा और इसे हम लॉकडाउन से सोशल डिस्टेसिंग अर्थात एलडी से एसडी बनाकर रहेंगे तभी हम इस बीमारी को जड़ से खत्म कर सकते हैं। कोरोना हरियाणा से हारेगा और कोरोना भारत से भागेगा।उन्होंने बताया कि सब प्रकार की रोजमर्रा की आवश्यक वस्तुएं लोगों के घरद्वार पर पहुंचाने के लिए जिला प्रशासन व पुलिस प्रशासन के माध्यम से व्यापक प्रबंध किए गए हैं। हमने प्रशासन के साथ-साथ वालंटयिर्स के सहयोग के लिए पोर्टल में पंजीकरण करवाने की ऑनलाइन व्यवस्था की है। पिछले चार दिनों अर्थात 22 मार्च से 33,000 वालंटयिर्स ने अपना पंजीकरण करवाया है जिनमें 546 सेवानिवृत डॉक्टर, 255 नर्स, 1100 पेरामेडिकल स्टाफ, 4700 होम डिलीवरी कर्मी, 5700-5700 सोशल डिस्टेसिंग व कम्यूनिटी कम्यूनिकेशन के बारे जानकारी देने वाले विशेषज्ञ तथा 6200 जिला मेजिस्ट्रेट को सहयोग देने वाले व्यक्ति शामिल हैं।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश के लोगों को इस बात से भी अवगत करवाया कि कोरोना वायरस की जांच के लिए प्रदेश में पांच लैब की सुविधा उपलब्ध है तथा दो और टेस्टिंग लैब के प्रबंध किए जा रहे हैं। इसीप्रकार, व्यापक मात्रा में 2500 आइसोलेटिड बैड तथा लगभग 6500 क्वारंटाइन बैड उपलब्ध करवाए गए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना के संक्रमित लोगों का इलाज कर रहे मेडिकल सेवा के अधिकारी व कर्मचारी जोखिम उठाकर लोगों के लिए कार्य कर रहे हैं। इनकी व इनके परिवार की चिंता करना भी सरकार का कर्तव्य बनता है। इन लोगों के प्रति हम कृतज्ञ हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने हरियाणा कोरोना राहत कोष का गठन किया है और इस कोष में अब तक 2000 से ज्यादा लोगों ने 5.84 करोड़ रुपये से अधिक का योगदान दिया है। उन्होंने बताया कि कोई भी व्यक्ति इस कोष में ई-बैंकिंग या आरटीजीएस या क्यूआर कोड, यूपीआई, एनईएफटी के माध्यम से राशि जमा कर सकता है। इसके लिए भारतीय स्टेट बैंक,पंचकूला में खाता संख्या 39234755902 खोला गया है तथा बैंक का आईएफएससी कोड-0001509 है।मुख्यमंत्री ने कहा कि दिहाड़ीदार, मजदूर व भवन निर्माण कार्यों से जुड़े श्रमिक व बीपीएल परिवारों को आर्थिक सहायता पहुंचाने के लिए प्रबंध किए हैं। मुख्यमंत्री ने जानकारी दी कि मुख्यमंत्री परिवार समृद्घि योजना के तहत 12.56 लाख परिवारों ने पंजीकरण करवाया। इनमें से 2.76 लाख परिवारों को 4,000 रुपये की एक मुश्त सहायता के तौर पर 84.46 करोड़ रुपये की सहायता दी गई है। इसीप्रकार, भवन निर्माण बोर्ड से पंजीकृत 3.85 लाख श्रमिकों को 1,000 रुपये प्रति सप्ताह देने का निर्णय है। बीपीएल परिवारों को भी 1,000 रुपये प्रति सप्ताह दिए जाएंगे और जो परिवार बीपीएल सूची में नहीं हैं, उनके पंजीकरण की अलग से व्यवस्था की जाएगी।मुख्यमंत्री ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान बिजली के बिल भरने पर कैश कांऊटर पर लगने वाली भीड़ से बचने के लिए बिजली निगमों ने 14 अप्रैल, 2020 कैश काऊंटर बंद करने का निर्णय लिया है। लोगों की सुविधा के लिए डिजिटल बिल की व्यवस्था की गई है। लोग चाहे आरटीजीएस या वीवीपीएपैट या एनईएफटी के माध्यम से भी बिजली बिलों का भुगतान कर सकते हैं। इसके लिए निगमों द्वारा उनके अगले बिल में दो प्रतिशत की छूट देने का निर्णय लिया है। 1,000 रुपये के बिल पर 20 रुपये तथा 5,000 रुपये तक के बिल पर 100 रुपये की छूट दी जाएगी।मुख्यमंत्री ने प्रदेश के लोगों से अपील की कि वे कोविड-19 से जुड़ी किसी भी विभाग की समस्या या अपने सुझाव देने के लिए आगे आएं। इसके लिए हैल्प लाइन नम्बर- 1075 तथा 1100 जारी किए गए हैं।