अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
नई दिल्ली:कांग्रेस ने नीट परीक्षा में हुए घोटाले की जांच सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में कराने की मांग की है। कांग्रेस ने इस मामले की जांच एनटीए से कराए जाने पर भी सवाल उठाए। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा, नीट परीक्षा में केवल ग्रेस मार्क्स की समस्या नहीं थी। इसमें धांधली, पेपर लीक और भ्रष्टाचार हुआ है। परीक्षा में बैठे 24 लाख छात्र-छात्राओं का भविष्य मोदी सरकार के कारनामों से दांव पर लग गया है। परीक्षा केंद्र और कोचिंग सेंटर का एक नेक्सस बन चुका है, जिसमें पैसे दो-पेपर लो का खेल खेला जा रहा है। मोदी सरकार एनटीए के कंधों पर अपनी कारगुजारियों का दारोमदार रखकर, अपनी जवाबदेही से पीछा नहीं छुड़ा सकती। पूरे नीट घोटाले में कांग्रेस पार्टी सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में एक निष्पक्ष जांच की मांग करती है।
जांच के बाद दोषियों को कड़ी-से कड़ी सजा दी जाए और लाखों छात्र-छात्राओं को मुआवजा देकर उनका साल बर्बाद होने से बचाया जाए। उन्होंने कहा, पिछले दस वर्षों में मोदी सरकार ने पेपर लीक और धांधली से करोड़ों युवाओं का भविष्य बर्बाद किया है। वहीं नई दिल्ली स्थित कांग्रेस मुख्यालय में पत्रकार वार्ता करते हुए कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा,नीट रिजल्ट में हुई धांधली के आरोपों पर सरकार का जो रवैया रहा है,उसपर उसे आत्ममंथन करने की जरूरत है। सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई में सरकार ने बताया है कि ग्रेस मार्क्स पाने वाले 1563 छात्रों का स्कोर कार्ड रद्द किया जाएगा और उन्हें 23 जून को दोबारा परीक्षा देने का विकल्प मिलेगा। वे बच्चे जो दोबारा परीक्षा नहीं देना चाहते, उनके ग्रेस मार्क्स हटाने के बाद जो अंक रहेंगे, वही फाइनल अंक माने जाएंगे। उन्होंने कहा, अब तक एनटीए के द्वारा सिर्फ ग्रेस मार्क्स के विषय पर ही हमने निर्णय सुना। लेकिन जो बड़ा घोटाला हुआ है, उसके संदर्भ में आज सरकार से हमें कोई ठोस कदम सुनने को नहीं मिला है। गोगोई ने कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान निष्पक्ष जांच की मांग पर चुप हैं, वे इस मुद्दे पर चर्चा से भाग रहे हैं। जिस एनटीए के नेतृत्व में यह पूरा घोटाला हुआ, उसी एजेंसी से मामले में जांच कराने की बात कही जा रही है। ऐसे में निष्पक्ष जांच की उम्मीद कैसे की जा सकती है। कांग्रेस सांसद ने कहा, परीक्षा केंद्र और कोचिंग सेंटर का एक नेक्सस बन चुका है, जिसने आज हमारे मध्यम वर्ग और गरीब वर्ग को अस्थिर कर दिया है। हमने अलग-अलग रिकॉर्डिंग सुनी है कि कैसे लाखों रुपये मांगे जा रहे हैं। एक ही केंद्र में बच्चों को एक जैसे नंबर मिल रहे हैं। अगर परीक्षा केंद्र-कोचिंग सेंटर को कहीं से प्रश्न पत्र मिला है तो इसमें जरूर कोई एनटीए का अधिकारी शामिल है। ऐसे में एनटीए निष्पक्ष जांच कैसे करेगा।गौरव गोगोई ने कहा, राहुल गांधी ने इस मुद्दे को उठाया, लेकिन परीक्षा पर चर्चा करने वाले प्रधानमंत्री आज कहां है। इस मामले में सरकार का रवैया कमजोर रहा है। लेकिन देश के मुद्दों को उठाना विपक्ष का कर्तव्य है और हम सदन के अंदर 24 लाख छात्रों की आवाज जोर-शोर से उठाएंगे।
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