अजीत सिन्हा की रिपोर्ट
नई दिल्ली: कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि नमस्कार साथियो। पिछले दिनों भारत को लज्जित होना पड़ा, शर्मिंदा होना पड़ा। पूरा विश्व जिसके मन में एक छवि है भारत की और वो अच्छा छवि है। पूरा विश्व हैरान रह गया कि भारत के सत्तारूढ़ दल के नफरती चेहरों से, उनके नफरती बयानों से और प्रधानमंत्री की चुप्पी से और कई सालों की चुप्पी, 8 सालों की चुप्पी – गृहमंत्री चुप और विदेश मंत्री चुप और ये तीनों मुझसे ज्यादा आप समझते हैं कि तीनों को बोलने का शोक है। ऐसा नहीं है कि बोलने का शोक नहीं, इस मुद्दे पर जब इनकी अपनी पार्टी के लोग नफरत फैलाते हैं, ये चुप हैं और विदेश मंत्री का कोई बयान अगर वायरल भी होता है, तो वो, वो बयान होता है, जिसमें शब्द नेहरू जी के चुराए होते हैं, लेकिन इस मुद्दे पर विदेश मंत्री चुप, पढ़े-लिखे व्यक्ति हैं, फिर भी चुप। पूरा विश्व देख रहा है कि ये चुप हैं।
पिछले 7 वर्षों में इस देश के विपक्ष ने, इस देश के प्रबुद्ध नागरिकों ने, इस देश के बुद्धिजीवी वर्ग ने और इस देश में बचा-खुचा जो स्वतंत्र मीडिया है उसने, बार-बार याद दिलाने की कोशिश की, सलाह देने की कोशिश की, प्रधानमंत्री को ये आभास दिलाने की कोशिश की, कि ये देश विविधताओं का देश है, बहुत विशाल देश है, इसको छोटे दिलों-दिमाग से नहीं चलाया जा सकता है। कई-कई ऐसे मौके आए जब इसी मंच से हमने आगाह किया। चलिए हमसे तो आपको प्रधानमंत्री जी नफरत है, लेकिन इस देश के रिटायर ब्यूरोक्रेट हो गए, समझदार लोग हो गए, जिन्होंने इस देश को बहुत भली-भांति समझा है, वो लोग हो गए, वह सब आपको सलाह देते रहे। आपने ना कुछ सुना और ना कुछ बोला।
आपका एक तोता मीडिया है, उस तोता मीडिया को आपने माध्यम बनाया और उस तोते मीडिया के माध्यम से आपने हम जैसे तमाम लोगों को, बुद्धिजीवी वर्ग को, विपक्ष को अलग-अलग उपाधियों से विभूषित किया, उनको चुप कराने की चेष्टा की। अवॉर्ड वापसी गैंग, टुकड़े-टुकड़े गैंग, खान मार्केट गैंग, एंटी नेशनल ये तमाम उपाधियों से आपने विभूषित करने की कोशिश की और उनको चुप कराया, मुहिम छेड़ दी उनके खिलाफ और आज यह परिस्थिति पैदा हो गई कि विदेशी मुल्कों की घुड़की पर आप तुरंत कार्रवाई कर देते हैं। अपने देश से आवाज उठती हैं, उनको दबाते हैं,
बाहर से आवाज उठी और आपने कार्रवाई की और कार्यवाई क्या की- अपने ही दल के अधिकृत प्रवक्ताओं को फ्रिंज कह दिया। फ्रिंज का हिंदी ना प्रणव भाई को मालूम है, ना संजीव भाई को मालूम है, आपको मालूम हो तो बताइए। अपने ही दल के अधिकृत प्रवक्ता, उनको आपने फ्रिंज कह दिया। आप कैसे फ्रिंज कह सकते हैं, हमें तो यही समझ नहीं आता। आप भी तो इन्हीं रास्तों से गुजर कर यहाँ तक पहुंचे हैं। यही गलियां थी जिनसे आप गुजर कर यहाँ तक पहुंचे हैं मिस्टर मोदी। आप नहीं किसी को फ्रिंज कह सकते। आज आप फ्रिंज कह भी दें, कल यही नुपुर शर्मा, यही नवीन कुमार जिंदल आपकी ही पार्टी द्वारा मुख्यधारा में लाए जाएंगे। कल का फ्रिंज आज का मेन स्ट्रीम है, आज का फ्रिंज कल का मैन स्ट्रीम बनेगा।
हम आपके भाषण नहीं भूले हैं प्रधानमंत्री जी।
सितंबर, 2002, खैरलांजी, गुजरात। उत्तर प्रदेश, 2017, श्मशान, कब्रिस्तान। दिसंबर, 2019, कपड़ों से पहचाने जाते हैं। ये वक्तव्य आपके हैं। आपको मैं याद दिला दूं, ना केवल आप उन्हीं रास्तों से गुजर कर यहाँ तक पहुंचे हैं, आप आज भी वक्त आने पर उन्हीं रास्तों पर चले जाते हैं। आज जो आपके नवरत्न पूरे देश में गुल खिला रहे हैं, जहर फैला रहे हैं, मत भूलिए वक्त आने पर जब विदेशों से प्रतिक्रिया बंद हो जाएगी, यह सब नवरत्न फिर से स्थापित हो जाएंगे, फिर से जहर फैलाएंगे, फिर से गुल खिलाएंगे। क्योंकि विदेशी मुल्कों ने गोली मारो वाले वक्तव्य पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी, आज वो व्यक्ति आपके केन्द्र में मंत्री है। लेकिन इन दोनों पर प्रतिक्रिया आई, तो आपने उन्हें सस्पेंड कर दिया। आपको भी लोग देख रहे हैं, पूरा विश्व देख रहा है, मत भूलिएगा। आज आपकी गलतियों का खामियाजा देश भुगत रहा है। जो काम विश्व के अनेक देशों को भारत के खिलाफ लामबंद करने का जो काम पाकिस्तान 70 साल में नहीं कर पाया, आपने 7 सालों में करके दिखाया। 70 साल पाकिस्तान लगातार कोशिश करता रहा कि कैसे अलग-अलग मुल्कों को भारत के खिलाफ लामबंद किया जाए, उसको हमने विफल किया, हमने उसको सफल नहीं होने दिया। आपकी करतूतों से आज आप सफल हो गए वो काम करने में।विश्व हैरान है, जैसा कि मैंने आपको कहा और देख भी रहा है कि कैसे 8 सालों में संवैधानिक संस्थाओं को आपने खुर्द-बुर्द कर दिया। विदेश मंत्रालय तो एक ऐसा व्यक्ति चला रहा है, जो विदेश मंत्रालय को अच्छी तरह समझता है। उसकी नाक के नीचे हमारे दूतावास भारतीय जनता पार्टी की प्रेस विज्ञप्ति बांट रहे हैं, कभी हुआ इस देश में? फ्रेंड्स ऑफ बीजेपी हैं ना विदेशों में, कई-कई इनके जाहिर और गैर जाहिर संगठन हैं भारतीय जनता पार्टी के और संघ के, वो बांटें। ये दूतावास मेल भेज कर नत्थी कर रहा है साथ में भारतीय जनता पार्टी की प्रेस विज्ञप्ति। ये क्या हाल बना रखा है आपने? माउथ पीस बना दिया आपने दूतावासों को, भारतीय जनता पार्टी का।अब आपने इस देश को बहुत शर्मिंदा कर लिया। यह देश अब शर्मिंदा होने से इंकार करता है। हम शर्मिंदा आपकी गलतियों से नहीं होंगे। ना सही वक्त पर आपने सही बात सुनी, ना सही वक्त पर आपने सही बात बोली और आज अलग-अलग मुल्कों के सामने आपको गिड़गिड़ाना पड़ रहा है, सफाईयां देनी पड़ रही हैं, ये हमें बर्दाश्त नहीं है। भारत का प्रधानमंत्री, भारत की सरकार सफाईयां देती फिर रही है क्यों, क्योंकि भारतीय जनता पार्टी ने गलतियां की हैं, ये कैसे बर्दाश्त होगा? अब भी समय है प्रधानमंत्री चेत जाइए और यह जो सांप पालने का शौक आपने पाला हुआ है, इस शौक को अब खत्म कीजिए, बीन बजाइए, सांपों को अपने बिलों में वापस भेजिए, क्योंकि अब ये सांप आपको भी डसने वाले हैं।